नव वर्ष की पूरी जानकारी

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नव वर्ष की पूरी जानकारी

नव वर्ष की पूरी जानकारी

✍नववर्ष हर धर्म सम्प्रदाय का अलग अलग होता है। ज्यादातर सभी देशों में नववर्ष का आगमन उनके धर्म संप्रदाय के अनुसार ही मनाया जाता है।

2020 अंग्रेजी का नववर्ष है और अधिकतर देशों में मनाया जाता है। इसका एक सामान्य कारण शायद पूरे विश्व को एकसार बनाना ही था, ताकि सभी देशों में  समय, वार, दिनाँक, महीना, हर देश में एक ही हो, जिससे कोई भ्रम ना हो। अच्छी बात है, सब ने इसे राजकीय कार्यों के लिये अपनाया। परन्तु किसी भी देश ने अपने धर्म के नववर्ष को अनदेखा नहीं किया।

*यह आने वाला नया वर्ष 2020 अंग्रेजी है अर्थात ईसाई धर्म का नया साल।*

मुस्लिम का नया साल होता है और वो हिजरी कहलाता है | इस समय *1437 हिजरी* चल रही है।

हिन्दू धर्म का इस समय विक्रम संवत *2076* चल रहा है।

इससे सिद्ध हो गया कि हिन्दू धर्म ही सबसे पुराना धर्म है। बाकी धर्म हिन्दुओं के बाद में ही अपनाये हैं।

*Before Christ, (BC) यानी ईसा से पहले*
*After Christ (AC) यानी ईसा के बाद*

मतलब ईसा के बाद ईसाई धर्म और नववर्ष आया। परंतु BC जो अंग्रेजों ने ही दिया था। *फिर ईसा से पहले BC क्या था?* जी हाँ उससे पहले *विक्रम संवत* था जो सम्राट विक्रमादित्य* ने चलाया था। भारत को एक सूत्र में लाने के लिए।

इस विक्रम संवत से 5000 साल पहले इस धरती पर भगवान विष्णु श्रीकृष्ण के रूप में अवतरित हुए। उनसे पहले भगवान राम और अन्य अवतार हुए। यानी हमारे हजारों वर्ष पुराने सनातन धर्म के पश्चात ही अन्य धर्म, संप्रदाय व मत पंथों की उत्पत्ति हुई।

सीधे-सीधे शब्दों में हिन्दू धर्म ही सब धर्मों की जननी है। श्रीगुरु नानक देवजी, महावीर जी, गौतमबुद्ध सब हिन्दू ही थे।

इस *इंग्लिश कैलेण्डर के बदलने से हमारा वर्ष नहीं बदलता?* हमारा कर्म अपने कैलेण्डर से ही चलेगा।
क्योंकि*
जब आप पैदा हुए पंडित जी से पूछा बच्चा मूल में तो पैदा नहीं हुआ ? पंडित जी ने पत्रा देखा और बताया | वो हिन्दू कैलेंडर ही था।
मूल शांति हिन्दू पत्रे से हुई
नामकरण हिन्दू पत्रे से हुआ
मंगल दोष हिन्दू पत्रे से निकला
विवाह मिलान हिन्दू पत्रे से हुआ
विवाह हिन्दू पत्रे से हुआ
सारे व्रत त्यौहार हिन्दू पत्रे से होते हैं और मरने की तेरहवीं भी हिन्दू पत्रे से आयी
मृत्यु के समय पंडित जी से पंचक पूछा तो वो भी हिन्दू पत्रे से*

मकान का उदघाटन, जन्मपत्री, विवाह योग्य, स्वास्थ्य रोग, और अन्य सभी समस्याएं का निराकरण हिन्दू कैलेण्डर *{पंचाग}* से ही होता है।

आप जानते हैं कि *रामनवमी, जन्माष्टमी, होली, दीपावली, राखी, भाई दूज, करवा चौथ, एकादशी, शिवरात्री, नवरात्रि, दुर्गापूजा सभी विक्रमी संवत कैलेण्डर से ही निर्धारित होते हैं* |

हिन्दू पंचांग के अनुसार नया वर्ष चैत्र शुक्ल प्रतिपदा से शुरु होता है। इस वर्ष यह तिथि 25 मार्च, 2020 को है।*

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