अवसाद से लड़ने में अंगूर हो सकता है सहायक
अवसाद और बेचैनी जैसे मानसिक रोगों के इलाज में अंगूर सहायक हो सकता है। अंगूर से प्राप्त पालीफेनोल योगिको से अवसाद के इलाज की दवाए बनाई जा सकती हैं।दरअसल, अवसाद प्रतिरक्षा तंत्र में आए सूजन के साथ मनोरोग से रक्षा करने वाली लसीका ग्रंथि और उत्तक टिशू में होने वाले गड़बड़ियों के कारण होता है।अब तक उपलब्ध दवाएं इन कारणों पर हमला नहीं कर पाती थी।इससे अवसाद भयानक रूप लेकर कई बार लाइलाज हो जाता है।पुराने शोधो में भी सामने आया था कि अंगूर से मिलने वाले वाले पोलीफेनॉल अवसाद के इलाज में सहायक हो सकते थे लेकिन अब तक इसकी प्रतिक्रिया ज्ञात नहीं थी।अमेरिका स्थित इकेहान स्कूल ऑफ मेडिसिन के वेज्ञानिको ने चूहों पर शोध कर पाया कि अंगूर से मिलने वाले डाइहाइडाकेफिक एसिड और मेलविडीन-3-ओ ग्लुकोसाइड का साथ में प्रयोग करने से अवसाद पूरी तरह ठीक हो सकता है।शोधकर्ताओं का कहना है अपने आहार में अंगूर को शामिल करने से मानसिक रोगों के खतरे को भी टाला जा सकता है।
इम्युनिटी बढाए सेहत पाए
बीमारियां उन्हें ज्यादा तंग करती हैं, जिनकी रोगों से लड़ने की क्षमता यानी इम्यून सिस्टम कमजोर होता है।इम्युनिटी बढेगी तो कई बड़ी बीमारियों और इन्फेक्शन से शरीर खुद ब खुद अपना बचाव कर लेगा।हमारे शरीर में इम्यून नाम का एक मेकेनिज्म काम करता है। यह शरीर को बेक्टीरिया और वायरस जैसी नुकसान पहुंचाने वाली चीजों से बचाता है।यह शरीर की तमाम रोगों से रक्षा करता है। शरीर के रोगों से लड़ने की क्षमता को ही प्रतिरोधक क्षमता या इम्युनिटी ही कहते हैं।