दिल्ली के रामलीला मैदान में स्वदेशी जागरण मंच द्वारा स्वदेशी महारैली का आयोजित
“स्वदेशी स्वीकार-चायनीज बहिष्कार” के उदघोष से रामलीला मैदान गूँज उठा गत 29 अक्तूबर को! केरल से लेकर कश्मीर व अरुणाचल से गुजरात, सारा देश ही चला आया दिल्ली! बिना किसी बड़े नेता या नाम के इतने लोग? स्वदेशी, देशभक्ति व संगठनशक्ति का संगम….बीजिंग तक पहुँचा उदघोष- “भारत माता की जय”अरूण ओझा(राष्ट्रीय संयोजक) ने मुख से जब यह शब्द कहे. तो सारा पंडाल नारो से गूज उठा
रामलीला मैदान डेल्ही में रविवार को एक बड़ी रैली का आयोजन किया गया। रैली में करीब 80 हजार लोग आये। इस अवसर पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, स्वदेशी जागरणमंच और संघ के अन्य संगठनों के कार्यकर्ता भी उपस्थित रहे।
स्वदेशी जागरण मंच के समन्वय प्रमुख अश्वनी महाजन जी ने कहा, ‘छोटे उद्मियो दुवारा निर्मित, लघु उद्योगों को प्रोत्साहित करने में क्षमता निर्माण में मदद करने हेतु विशेष सहायता दी जाए। ताकि वह घरेलू मांग को पूरा करने में सक्षम हो सके चीन से रीजनल कंप्रीहेंशन इकनोमिक पार्टनरशिप सहित किसी भी प्रकार का नया व्यापार समझौता न किया जाए।
मेजर जनरल जीडी बक्शी जी ने कहा कि हमारे सामने एक बड़ी चुनौती और समस्या सामने आ रही है। आज देश की सबसे बड़ी समस्या बेरोजगारी है। ऐसा इसलिए हो रहा है कि क्योंकि चीन अपना सस्ता समान देश मे बेच रहा है और देश का उद्योग विकसित नहीं होने दे रहा है। उन्होंने कहा कि अब समय आ गया है कि हमें मिलकर इसका विरोध करना चाहिए।
मंच भारत सरकार द्वारा चीनी आयात को रोकने संबंधी प्रयासों जैसे 94 वस्तुओं पर एंटी डंपिंग ड्यूटी लगाने प्लास्टिक वस्तुओं पावर प्लांट वादी पर मानक लागू कर चीन सेन वस्तु के आयात पर रोक एवं चीन से आने वाली अन्य वस्तुओं के संबंध में मानक बनाकर उसे लागू करने मंच ख़ुश है
स्वदेशी जागरण का कहना है कि नागपुर मेट्रो का 960 करोड रुपए का प्रोजेक्ट, चेन्नई बेंगलुरु मैसूर हाई स्पीड ट्रेन प्रोजेक्ट से प्रारंभ कर अनेक थर्मल पावर हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट तथा अनेक व्यक्ति भूमि विकास के कार्य का टेंडर चीनी कंपनियों को देने के साथ-साथ चीनी एफडीआई को आमंत्रित करना इत्यादि कार्य को समाज स्वीकार नहीं कर रहा है। इसलिए सरकार के सामने यह सारे टेंडर निरस्त करना एवं चीनी निवेश का बहिष्कार करने का समय आ चुका है।
स्वदेशी उत्पादों को प्राथमिकता दिए जाये,दिल्ली के रामलीला मैदान में महारैली का आयोजन किया गया। इस दौरान किसान नेता, व्यापारी नेता, प्रसिद्ध उद्यमी, अनेक धार्मिक एवं सामाजिक संगठनों के प्रमुख भी उपस्थित रहे।